■ मुक्तक : 36 – कभी-कभी लगता है Posted on February 10, 2013 /Under मुक्तक /With 0 Comments ( चित्र Google Search से साभार ) कभी-कभी लगता है कभी भी आए न रात ॥ कभी-कभी लगता है कभी ना होए प्रभात ॥ चढ़े है मुझपे क्यों ये सनक या कोई जुनून , कभी लगे अच्छा हो जनाज़ा गाह बरात ? -डॉ.हीरालाल प्रजापति 4,651