■ मुक्तक : 152 – रहा करते हैं तनहाई में Posted on April 12, 2013 /Under मुक्तक /With 0 Comments रहा करते हैं तनहाई में हर इक छोड़ दी महफ़िल ।। नशे में अब फिरा करते हैं गलियों में हुए गाफ़िल ।। कि जबसे हो गए नाकामयाब इक अपने मक़्सद में , तभी से मौत को अपनी मुक़र्रर की नई मंज़िल ।। -डॉ. हीरालाल प्रजापति 3,449